रूस ने ‘विजय दिवस’ के अवसर पर 8-10 मई को यूक्रेन में युद्ध विराम की घोषणा की

कीव/सियोल. रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के कार्यालय ‘क्रेमलिन’ ने यूक्रेन में 8 से 10 मई तक पूर्ण युद्धविराम की सोमवार को घोषणा की. रूस ने द्वितीय विश्वयुद्ध में नाजी जर्मनी पर जीत के अवसर पर आयोजित ‘विजय दिवस’ के उपलक्ष्य में यह घोषणा की है.
यह युद्धविराम आठ मई की मध्यरात्रि से शुरू होगा और 10 मई तक चलेगा. क्रेमलिन ने कहा कि रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने 9 मई को विजय दिवस के लिए ह्लमानवीय आधारह्व पर शत्रुतापूर्ण कार्रवाई को पूरी तरह से रोकने का आदेश दिया है.
यह घटनाक्रम ऐसे समय हुआ है जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप यूक्रेन में शांति समझौता कराने के लिए प्रयास तेज कर रहे हैं. पुतिन ने यूक्रेन को पश्चिमी हथियारों की आपूर्ति रोके जाने और यूक्रेन के लामबंदी प्रयास को छोड़ने तक बिना शर्त पूर्ण युद्ध विराम को स्वीकार करने से इनकार कर दिया था.
पुतिन ने कुर्स्क में यूक्रेनी सेना के खिलाफ लड़ने के लिए उत्तर कोरियाई सैनिकों को धन्यवाद दिया
रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने रूसी सैनिकों के साथ मिलकर यूक्रेनी सेना के खिलाफ लड़ने के लिए उत्तर कोरिया को सोमवार को धन्यवाद देते हुए कहा कि वह उसके बलिदानों को कभी नहीं भूलेंगे. इससे कुछ ही घंटों पूर्व, उत्तर कोरिया ने सोमवार को पहली बार पुष्टि की कि उसने यूक्रेन के खिलाफ युद्ध में सहायता के लिए रूस में सैनिक भेजे हैं. रूस और उत्तर कोरिया के ये बयान उनकी बढ.ती सैन्य साझेदारी को दर्शाते हैं.
‘क्रेमलिन’ (रूसी राष्ट्रपति का कार्यालय) द्वारा सोमवार को वेबसाइट पर साझा किए गए एक बयान के अनुसार, पुतिन ने ”रूसी लड़ाकों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर हमारी मातृभूमि की रक्षा अपनी मातृभूमि की तरह करने वाले (उत्तर) कोरियाई लड़ाकों की वीरता, उच्च स्तर के विशेष प्रशिक्षण और समर्पण की” सराहना की.
पुतिन ने कहा, ”रूसी लोग उत्तर कोरिया के विशेष बलों की वीरता को कभी नहीं भूलेंगे. हम हमेशा उन नायकों का सम्मान करेंगे जिन्होंने रूस के लिए, हमारी साझा स्वतंत्रता के लिए अपने रूसी भाइयों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर लड़ते हुए अपनी जान दी.” रूस ने पश्चिमी कुर्स्क क्षेत्र को पूर्ण रूप से अपने कब्जे में फिर से लेने की शनिवार को घोषणा की थी. यूक्रेन ने रूस के दावे का खंडन किया है. अगस्त 2024 में कुर्स्क क्षेत्र के कुछ हिस्सों पर यूक्रेनी सशस्त्र बलों ने नियंत्रण हासिल कर लिया था.
अमेरिका, दक्षिण कोरिया और यूक्रेन के खुफिया अधिकारियों ने कहा था कि उत्तर कोरिया ने पिछले साल रूस में करीब 10-12 हजार सैनिक भेजे थे. उत्तर कोरिया ने रूस में अपने सैनिकों की तैनाती की इससे पहले तक न तो पुष्टि की थी और न ही इसका खंडन किया था.
उत्तर कोरिया के सरकारी मीडिया को दिए गए एक बयान में, सत्तारूढ. ‘वर्कर्स पार्टी’ के केंद्रीय सैन्य आयोग ने बताया कि नेता किम जोंग उन ने आपसी रक्षा संधि के तहत रूस में लड़ाकू सैनिक भेजने का फैसला किया. इस संधि को शीत युद्ध की समाप्ति के बाद दोनों देशों के बीच सबसे बड़ा रक्षा समझौता माना जाता है. इसके तहत दोनों देशों से अपेक्षा की जाती है कि यदि उनमें से किसी भी देश पर आक्रमण होता है तो वे तत्काल सैन्य सहायता प्रदान करने के लिए सभी उपलब्ध साधनों का उपयोग करेंगे.
बयान में किम के हवाले से कहा गया कि सैनिकों की तैनाती का उद्देश्य ”कब्जा करने वाले यूक्रेनी नव-नाजियों को खत्म करना और रूसी सशस्त्र बलों के सहयोग से कुर्स्क क्षेत्र को आजाद कराना” है. बयान के अनुसार, किम ने कहा, ”जो लोग न्याय के लिए लड़े, वे सभी नायक हैं और मातृभूमि के सम्मान के प्रतिनिधि हैं.”